Bullish Harami Candlestick Pattern: बुलिश हरामी कैंडलस्टिक पैटर्न की पहचान

Bullish Harami Candlestick Pattern दो कैंडलों के मिलने से बनता है, जो अल्पावधि डाउनट्रेंड के बाद चार्ट पर बनता हुआ दिख सकता है।

“बुलिश हरामी” शब्द हम भारत के लोगों को अजीब सा सुनने में लग सकता है, लेकिन यह एक जापानी शब्द है। जापानी भाषा में इसका अर्थ गर्भवती होता है।

बड़ा कैंडल लाल को “Mother Candle” और छोटा हरा कैंडल को “Baby Candle” के नाम से भी जाना जाता है।

हरामी कैंडलस्टिक पैटर्न के दो प्रकार होते है – पहला बुलिश हरामी और दूसरा बेयरिश हरामी।

ट्रेडिंग के दौरान चार्ट में बुलिश हरामी कैंडलस्टिक पैटर्न की पहचान कैसे करें, जिसके लिए निम्नलिखित बिंदुओं का होना आवश्यक है –

  1. पहली मोमबत्ती (कैंडल) बड़ी और लाल (मंदी वाली) होनी चाहिए।
  2. दूसरी मोमबत्ती (कैंडल) हरी (तेजी) और छोटी होनी चाहिए।
  3. दूसरी वाली हरी मोमबत्ती का आकर छोटा होना चाहिए और पिछली वाली लाल मोमबत्ती के शरीर (बॉडी) के बीच में होना चाहिए।

Bullish Harami Candlestick Pattern का मनोविज्ञान

Bullish Harami Candlestick Pattern शेयर बाजार में शेयर्स की कीमतों में हमेशा तेजड़ियों (खरीददारों) और मंदड़ियों (विक्रेताओं) के बीच लड़ाई चलती रहती है। यह पूरी तरह से मांग बनाम आपूर्ति है।

आप इस पैटर्न की कल्पना इस प्रकार कर सकते है – जब किसी स्टॉक की कीमत पिछले कुछ दिनों से गिरता आ रहा हो और एक दिन बॉटम लाइन पर आकर एक बड़ी सी लाल मोमबत्ती बन जाती है, जिसका अर्थ होता है कि अब विक्रेता पूर्ण नियंत्रण में है।

अगले दिन स्टॉक का भाव गैप अप खुलता है। और स्टॉक के भाव में भढ़ोतरी को देख कर जिसके पास स्टॉक की कमी है, उन्हें डर सताना शुरू कर देता है, कि कहीं स्टॉक के भाव में उछाल न आ जाए। जिसके कारण लोग अपनी छोटी स्थिति को कवर करते है ऐसा करते ही स्टॉक का भाव बढ़ जाता है।

स्टॉक के भाव में बढ़ोतरी होते ही विक्रेताओं की पकड़ कमजोर होने लगती है और खरीदार बाजार में अपना नियंत्रण ले लेते है।

अगर स्टॉक का भाव तीसरे दिन भी अधिक खुलता है, तो यह पुष्टि हो जाती है कि प्रवृत्ति (ट्रेंड) उलट सकती है। और स्टॉक की कीमतों में बढ़ोतरी देखने को मिल सकती है।

Bullish Harami Candlestick Pattern की ट्रेडिंग रणनीति

Bullish Harami chart Pattern
Bullish Harami chart Pattern

“बुलिश हरामी कैंडलस्टिक पैटर्न” ट्रेडिंग चार्ट पर सभी समयावधियों पर काफी अच्छा काम करता है। यह पैटर्न चार्ट पर काफी सामान्य और चार्ट पर बहुत बार बनता हुआ दीखता है।

इंट्राडे ट्रेडिंग व्यापारी चार्ट को 5 मिनट, 10 मिनट, 15 मिनट या 30 मिनट किसी भी टाइम फ्रेम को देख सकते है।व्यापारीयों को किसी भी टाइम फ्रेम पर “बुलिश हरामी कैंडलस्टिक पैटर्न” दिखाई दे सकता है। और पैटर्न में तेजी के बाद अगला दिन भी बाजार में तेजी दिखाई देता है, तो व्यापार किया जा सकता है। और अच्छा मुनाफा बनाया जा सकता है।

अगर कोई व्यापारी अल्पावधि या मध्यम अवधि में व्यापार करना चाहते है, तो उसके लिए ट्रेडिंग चार्ट पर 60 मिनट, दैनिक और साप्ताहिक चार्ट को देखना चाहिए।

बुलिश हरामी पैटर्न का निर्माण ट्रेंड रिवर्सल या ट्रेंड निरंतरता के दौरान हो सकता है। ट्रेंड रिवर्सल तब होता है, जब किसी स्टॉक का भाव लम्बे समय से डाउनट्रेंड में हो। क्योकिं कुछ प्रमुख ट्रेंड रिवर्सल होने के दौरान “बुलिश हरामी” कम प्रभावी हो जाता है। इसलिए व्यापारियों को संकेतो का उपयोग करते हुए व्यापार करना चाहिए।

बाजार में ट्रेंड कंटीन्यूएशन का अर्थ होता है कि कोई स्टॉक लम्बी अवधि के दौरान अपट्रेंड पर हो, लेकिन अल्पावधि में मामूली सा गिरावट को दर्शाता हो। अगर मामूली सी सुधार के दौरान “बुलिश हरामी बनती है तो व्यापारी अल्पकाल स्थिति ले सकता है।

बुलिश हरामी को एक उदाहरण से समझते है –

इस लेख में दर्शाये गए छवि में Bullish Harami Candlestick Pattern को एक बॉक्स में अंकित किया गया है। यदि बुलिश हरामी पैटर्न का निर्माण होने के बाद स्टॉक हरे रंग का खुलता है तो आगे की पुष्टि के लिए जब कीमत पहली लाल मोमबत्ती के उच्च स्तर को पार कर जाये तो खरीददारी की स्थिति ली जा सकती है।

अगर डाउनट्रेंड के बाद बड़े लाल कैंडल का निर्माण होते ही अगला छोटा हरा कैंडल के बनने के बाद अगले तीसरे निर्णायक कैंडल बनने का इन्तिज़ार करना चाहिए।

अगर तीसरा कैंडल हरा यानि तेजी का संकेत देता है तो स्टॉक का भाव में बढ़ोतरी आने का प्रबल संकेत देता है। अगर लाल कैंडल बनता है तो बाजार नीचे जाने की संभावना बन सकती है।

स्टॉप लॉस और प्रॉफिट बुक कहाँ तक लें

अगर स्टॉक की कीमत लगातार बढ़ती रहती हो, जैसा की ऊपर दिए गए चार्ट में दिखाया गया है। तो व्यापारी धीरे-धीरे स्टॉप लॉस बढ़ा सकता है और अपने प्रॉफिट की स्थिति को बनाए रख सकता है।

जब तक की चार्ट पर मंदी वाला कैंडलस्टिक पैटर्न यानि लाल कैंडल का निर्माण न हो। या फिर जब तक अन्य किसी ट्रेडिंग संकेतक यह सुझाव न दे कि स्टॉक नीचे जा सकता है।

बुलिश हरामी अधिक प्रभावी ढंग से काम करने के महत्वपूर्ण बिंदु

अगर दूसरी हरी कैंडल का आयतन पहली लाल कैंडल से अधिक हो तो इसे सकारात्मक होने का संकेत माना जा सकता है।

अगर हरामी पैटर्न की दूसरी हरी कैंडल उस दिन बनती है, जब बाजार अच्छा प्रदर्शन नहीं कर रहा हो तो इसका अर्थ यह होता है कि स्टॉक में अतिरिक्त ताकत है।

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नमस्कार, मैं श्री विजय वर्मा Investing Fundas का संस्थापक, मैं एक ब्लॉगर, यूट्यूबर, लेखक, ट्रेडर एवं SBI लाइफ आईए हूँ।

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